DAILY G.A UPDATE : 27-10-2016
भारत और न्यूजीलैंड ने खाद्य उत्पादों का व्यापार बढ़ाने के लिए खाद्य सुरक्षा सहयोग समझौते पर हस्ताक्षर किए। इसका मकसद दोनों देशों के खाद्य प्राधिकरणों के बीच तालमेल को बेहतर बनाना है।
बेहोश पड़े एक बुजुर्ग चीनी व्यक्ति के जीवन-रक्षा में किए गए प्रयासों के लिए सिंगापुर ने भारतीय मूल के यू. शिवकुमा को ‘पब्लिक स्पिरिटेडनेस अवार्ड’ से सम्मानित किया है।
एक हिन्दू मंदिर के पास ही बेहोश पड़े चीनी व्यक्ति को एम्बूलेंस आने से पहले जीवित रखने के लिए यू. शिवकुमार ने अपने जीवन-रक्षक तरीकों का प्रयोग किया। शिवकुमार एक सैन्य विशेषज्ञ हैं।
गुरू राजा (56 किग्रा) और ज्योति मल (53 किग्रा) ने मलेशिया के पेनांग में चल रही राष्ट्रीय सीनियर (पुरूष और महिला) भारोत्तोलन चैम्पियनशिप में अपने अपने वर्गों में स्वर्ण पदक जीतकर प्रतियोगिता में भारत का खाता खोला।
राजा ने पुरूष वर्ग में कुल 249 किग्रा (108 और 141 किग्रा) वजन उठाया जबकि ज्योति ने महिला वर्ग में 175 किग्रा :73 और 102 किग्रा: वजन उठाकर सोने का तमगा अपने नाम किया।
गोपाल अंबरासू ने 62 किग्रा वर्ग में कुल 259 किग्रा :115 और 144 किग्रा: वजन उठाकर कांस्य पदक जीता।
गोवा में जन्मी मलाइका वाज ने हाल ही में आयोजित वाइल्डस्क्रीन महोत्सव में वर्ष 2016 का ‘वाइल्डस्क्रीन नेशनल ज्योग्राफिक रोअर टैलेंट बुर्सरी अवार्ड’ जीता।
महाराष्ट्र में एक नव-संरक्षित जंगल में वास्तविक जीवन को दिखाने वाली वाज की लघु फिल्म ‘‘वाघोबा’’ को ब्रिटेन के ब्रिस्टल में हुए फिल्मोत्सव में आलोचकों ने खूब सराहा था।
उन्नीस वर्षीय वाज बेंगलुरू स्थित फेलिस क्रिएशंस में इंटर्न हैं।
यह पुरस्कार प्रतिवर्ष दुनिया भर से सिर्फ एक वन्यप्राणी कहानीकार को दिया जाता है।
फिल्म महोत्सव के इतिहास में पहली बार किसी भारतीय को यह सम्मान मिला है।
काहिरा में आयोजित छठे सीएएम अंतरराष्ट्रीय फिल्म महोत्सव में विभा बक्शी के निर्देशन में बनी भारतीय डाक्यूमेंट्री फिल्म ‘डॉटर्स ऑफ मदर इंडिया’ ने पुरस्कार जीता है।
काहिरा में स्थित भारतीय दूतावास द्वारा जारी एक बयान के मुताबिक, महोत्सव के डाक्यूमेंट्री खंड में फिल्म ने पहला पुरस्कार जीता। महोत्सव का आयोजन अरेबिक ईजिप्शियन सोसाइटी फॉर कल्चर, मीडिया एंड आर्ट्स :सीएमए: ने आठ अक्तूबर से 13 के बीच किया था।
‘डॉटर्स ऑफ मदर इंडिया’ में लैंगिक हिंसा के खिलाफ लड़ाई में भारत के संकल्प, आशा और साहस को दिखाया गया है।
अज्ञानता, गरीबी और आतंकवाद का सामना करने के लिए एक साधन के रूप में सिनेमा को बढ़ावा देने के लिए सीएएम अंतरराष्ट्रीय फिल्म महोत्सव का आयोजन हर साल किया जाता है।
इस साल तीन श्रेणियों शॉर्ट फिक्शन, डाक्यूमेंट्री और एनिमेशन में 33 देशों की करीब 92 फिल्में दिखायी गयीं। फिल्म महोत्सव में भारत ‘‘गेस्ट ऑफ ऑनर’’ था जिसकी 12 प्रविष्टियां थीं।
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